सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड एक सरकारी बॉन्ड होता है, जिसे RBI की तरफ से जारी किया जाता है। इसे डीमैट के रूप में परिवर्तित कराया जा सकता है। इसकी कीमत सोने के वजन में होता है। यदि बॉन्ड पांच ग्राम सोने का है, तो पांच ग्राम सोने की जितनी कीमत होगी, उतनी ही बॉन्ड की कीमत होगी। इसे खरीदने के लिए सेबी के अधिकृत ब्रोकर को इश्यू प्राइस का भुगतान करना होता है। बॉन्ड को बेचने के बाद पैसा निवेशक के खाते में जमा हो जाता है।
शुद्धता और सुरक्षा की कोई चिंता नहीं, इश्यू प्राइस पर मिलता है 2.50% ब्याज
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में शुद्धता की चिंता करने की कोई जरूरत नहीं होती है। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) के मुताबिक गोल्ड बॉन्ड की कीमत इंडियन बुलियन एंड ज्वेलर्स एसोसिएशन (IBJA) द्वारा प्रकाशित 24 कैरेट शुद्धता वाले सोने की कीमत से लिंक होती है। इसके साथ ही इसे डीमैट के रूप में रखा जा सकता है, जो काफी सुरक्षित है और उस पर कोई खर्च भी नहीं होता है। सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में इश्यू प्राइस पर हर साल 2.50% का निश्चित ब्याज मिलता है। यह पैसा हर 6 महीने में आपके खाते में पहुंच जाता है। हालांकि, इस पर स्लैब के हिसाब से टैक्स चुकाना होगा
8 साल से पहले निकालने पर देना होता है टैक्स
सॉवरेन 8 साल के मैच्योरिटी पीरियड के बाद इससे होने वाले लाभ पर कोई टैक्स नहीं लगता। वहीं अगर आप 5 साल बाद अपना पैसा निकालते हैं, तो इससे होने वाले लाभ पर लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) के रूप में 20.80% टैक्स लगता है।ऑनलाइन गोल्ड बॉन्ड खरीदने के लिए आपका डीमैट अकाउंट होना जरूरी है। इसके जरिए आप एनएसई पर उपलब्ध गोल्ड बॉन्ड के यूनिट खरीद सकते हैं। आप जितनी यूनिट खरीदेंगे उसकी कीमत के बराबर की राशि आपके डीमैट अकाउंट से जुड़े बैंक अकाउंट से कट जाएगी। इसके बाद आपके डीमैट अकाउंट में यूनिट क्रेडिट हो जाएंगी।
ऑफलाइन भी कर सकते हैं निवेश
RBI ने इसमें निवेश के लिए कई तरह के विकल्प दिए हैं। बैंक की शाखाओं, पोस्ट ऑफिस, स्टॉक एक्सचेंज और स्टॉक होल्डिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया (SHCIL) के जरिए इसमें निवेश किया जा सकता है। निवेशक को एक आवेदन फॉर्म भरना होगा। इसके बाद आपके अकाउंट से पैसे कट जाएंगे और आपके डीमैट खाते में ये बॉन्ड ट्रांसफर कर दिए जाएंगे।
निवेश करने के लिए पैन होना अनिवार्य है। यह बॉन्ड सभी बैंकों, स्टॉक होल्डिंग कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (SHCIL), मान्यता प्राप्त स्टॉक एक्सचेंजों, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ इंडिया लिमिटेड (NSE) और बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज लिमिटेड (BSE) के माध्यम से बेचे जाएंगे।