नयी दिल्ली- मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन के अगले दो वर्षों में साकार होने की संभावना के साथ रेल मंत्री डॉ. अश्विनी वैष्णव ने विदर्भ को भी बुलेट ट्रेन का तोहफा देने का बड, ऐलान राज्य सभा में कर दिया. डॉ. वैष्णव ने बताया कि, नागपुर-मुंबई बुलेट ट्रेन चलाई जाएगी. उसके लिए विशेष मार्ग तैयार किया जाएगा. जैसा कि अहमदाबाद- मुंबई के बीच किया जा रहा है. अश्विनी वैष्णव ने दिल्ली से अमृतसर सहित चेन्नई और बेंगलोर को जोडने वाली बुलेट ट्रेन का भी ऐलान किया.संसद के शीतसत्र में सदस्यों के प्रश्नों का उत्तर देने रेल संबंधित जिज्ञासाओं को शांत करते हुए अश्विनी वैष्णव ने नागपुर मुंबई बुलेट ट्रेन का प्लान सदन में रखा.
उन्होंने कहा कि, अहमदाबाद-मुंबई कॉरिडोर पूरा होते ही मुंबई-नागपुर बुलेट मार्ग का काम शुरु कर दिया जाएगा. 7 हाईस्पीड रेल कॉरिडोर देशभर में बनाये जाने की घोषणा भी अश्विनी वैष्णव ने की. मुंबई-नागपुर, दिल्ली-वाराणसी, दिल्ली-अहमदाबाद, दिल्ली-अमृतसर, मुंबई-पुणे-हैदराबाद, चेन्नई- बेंगलोर-म्हैसुर और वाराणसी-हावडा नये बुलेट मार्ग बनाकर यहां हाईस्पीड ट्रेन चलाई जाएगी.
तकनीकी रूप से सक्षम, आर्थिक रुप से वायबल हैं संसाधन
रेल मंत्री ने स्पष्ट कर दिया कि, भले ही हाईस्पीड रेल कॉरिडोर बनाना महंगा सौदा है. किंतु विस्तृत प्रकल्प अहवाल (डीपीआर) बनाते समय सभी बातों का ध्यान रखा जा रहा है. जिसमें तकनीकी रूप से सक्षम, आर्थिक रुप से वायबल और क्षेत्र के उपलब्ध संसाधनों पर गौर किया गया है.नैशनल हाईस्पीड रेल कार्पोरेशन ने मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट इस तरह तैयार किया है कि, वह भविष्य की ऐसी रेल परियोजनाओं के लिए मॉडल बन गया विविध रुट पर हाईस्पीड रेल चलाने के बारे में रेल्वे गंभीरता से विचार कर रहा है.
इससे यात्रा समय कम होगा और आर्थिक तरक्की की रफ्तार बढेगी. रेल मंत्री वैष्णव ने कहा कि, यह योजना आगे बढने पर नागपुर हाईस्पीड रेल नेटवर्क का प्रमुख केंद्र भी बन सकता है. देश में यातायात संसाधनों के उन्नत होने का एक बडा कदम इस हिसाब से उठाया जा रहा है.
ढाई घंटे में 500 किमी
रेलमंत्री ने बताया कि, हाईस्पीड ट्रेन शुरु होने के बाद 500 किमी का फासला ढाई घंटे में तय हो जाएगा. मुंबई अहमदाबाद रुट की प्रस्तावित बुलेट ट्रेन 320-350 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से चलेगी. इस रुट पर 12 स्टेशन बनाये गये है. 508 किमी का फासला मात्र दो से ढाई घंटे में तय हो जाने का दावा भी किया गया. बता दें कि, बुलेट ट्रेन का कार्य प्रगती पर है. इसके लिए जापान से तकनीक और आर्थिक दोनों सहयोग प्राप्त हुए हैं.