अजय बंगा का जन्म पुणे में 10 नवंबर 1959 को हुआ था। उनके पिता हरभजन सिंह बंगा भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट जनरल थे। उन्होंने जालंधर और शिमला से स्कूलिंग, DU से ग्रेजुएशन और IIM अहमदाबाद से MBA किया है। 2016 में भारत सरकार उन्हें पद्मश्री से भी सम्मानित कर चुकी है।मास्टरकार्ड के CEO रह चुके बंगा वर्ल्ड बैंक के अध्यक्ष बनने वाले भारतीय मूल के पहले व्यक्ति हैं। भारतीय-अमेरिकी बंगा प्राइवेट इक्विटी फंड जनरल अटलांटिक के वाइस चेयरमैन हैं।
भारत में पिज्जा हट-KFC खोलने में बड़ी भूमिका निभाई
अजय उस भारतीय-अमेरिकी पीढ़ी के हैं, जिन्होंने पढ़ाई भारत में की और अमेरिका में अपनी की धाक जमा दी। उनकी जिंदगी मेहनत, संघर्ष और सफलता की कहानी है। पढ़ाई पूरी करने के बाद 1981 में उन्होंने नेस्ले इंडिया में बतौर मैनेजमेंट ट्रेनी जॉइन किया और 13 साल में मैनेजर बन गए।इसके बाद वे पेप्सिको के रेस्टोरेंट डिवीजन का हिस्सा बने। यह उदारीकरण का दौर था, जब बंगा ने भारत में पिज्जा हट और KFC के लॉन्च में बड़ी भूमिका निभाई।
फॉर्च्यून ने शक्तिशाली उद्योगपति-2012 चुना
बंगा 1996 में सिटी ग्रुप के मार्केटिंग हेड बने। 2000 में सिटी फाइनेंशियल के प्रमुख नियुक्त किए गए। 2009 में मास्टरकार्ड के CEO बने और अपनी मार्केटिंग स्ट्रैटजी से मास्टरकार्ड को युवाओं में इतना लोकप्रिय बना दिया कि यह स्टेटस सिंबल बन गया। 2016 में बंगा को पद्मश्री से भी सम्मानित किया गया।मशहूर पत्रिका फॉर्च्यून ने 2012 में बंगा को ‘शक्तिशाली उद्योगपति-2012’ के तौर पर चुना था। वह हिंदुस्तान यूनिलीवर के पूर्व चेयरमैन मानविंदर सिंह बंगा के भाई हैं।
बाइडेन ने कहा था- वर्ल्ड बैंक की कमान संभालने के लिए सबसे ज्यादा योग्य
बाइडेन ने बंगा के बारे में कहा था कि अजय ने ग्लोबल कंपनियों के निर्माण और मैनेजमेंट में तीन दशक से अधिक समय बिताया है। ये वे कंपनियां हैं, जिन्होंने अर्थव्यवस्था के साथ रोजगार को भी बढ़ावा दिया है। साथ ही कहा कि इस ऐतिहासिक क्षण में अजय वर्ल्ड बैंक की कमान संभालने के लिए सबसे ज्यादा योग्य हैं।