सरकार ने संसद में खोला बैंकों का राज! ग्रहको से दंड के तौर पर वसूले इतने हजार करोड़ रूपये

नई दिल्ली– अगर आपका क‍िसी भी बैंक में अकाउंट है तो यह खबर आपको जरूर पढ़नी चाह‍िए. पब्‍ल‍िक और प्राइवेट सेक्‍टर के बैंकों ने पांच सालों में ग्राहकों से हजारों करोड़ रुपये वसूले हैं. यह पैसा बैंकों की तरफ से प‍िछले पांच साल में ग्राहकों से एसएमएस (SMS), म‍िन‍िमम बैलेंस मेंटेन नहीं कर पाने और एक्‍सट्रा एटीएम लेनदेन के ल‍िए वसूला गया है.

साल 2018 से पांच साल में बैंकों की तरफ से जुर्माने में कुल 35,587 करोड़ रुपये वसूले गए. इसमें से 21,044.04 करोड़ रुपये की सबसे बड़ी राशि बैंकों द्वारा 2018 के बाद से न्यूनतम बैलेंस मेंटेन नहीं कर पाने के ल‍िए पेनाल्‍टी के रूप में ली गई.

राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में दी जानकारी

इस बारे में केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री भागवत कराड ने राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में यह जानकारी दी. इसके अलावा, पब्‍ल‍िक सेक्‍टर के बैकों के अलावा प्राइवेट सेक्‍टर के बैंकों ने एक्‍सट्रा एटीएम ट्रांजेक्‍शन के लिए 8,289.32 करोड़ रुपये और एसएमएस सर्व‍िस देने के लिए 6,254.32 करोड़ रुपये लगाए. न‍िजी बैंकों में एक्सिस बैंक, एचडीएफसी बैंक, इंडसइंड बैंक, आईसीआईसीआई बैंक और आईडीबीआई बैंक प्रमुख रूप से शाम‍िल हैं.

आरबीआई ने जारी क‍िया था सर्कुलर

बैंकों की तरफ से लगाए गए शुल्क को विनियमित करने के लिए, आरबीआई (RBI) ने 1 जुलाई, 2015 को ‘बैंकों में ग्राहक सेवा’ पर मास्‍टर सर्कुलर जारी क‍िया है. इसमें प्रावधान द‍िया गया है क‍ि खाते में न्‍यूनतम राश‍ि नहीं रख पाने पर बैंकों को पेनाल्‍टी तय करने की अनुमति है. आरबीआई ने सर्कुलर के जर‍िये बैंकों को ग्राहकों को एसएमएस अलर्ट भेजने के लिए शुल्क में तर्कसंगतता और समानता सुन‍िश्‍च‍ित करने की बात कही.

आरबीआई की तरफ से 10 जून 2021 को जारी सर्कुलर के अनुसार, बैंक ग्राहक अपने बैंक एटीएम से हर महीने पांच फ्री लेनदेन के पात्र हैं. ग्राहक अन्य बैंक एटीएम से न‍िश्‍च‍ित संख्या में मुफ्त लेनदेन के लिए भी पात्र हैं यानी मेट्रो स‍िटी में तीन लेनदेन और गैर-मेट्रो स‍िटी में पांच लेनदेन. मुफ्त लेनदेन के अलावा, प्रत्येक एटीएम लेनदेन पर अधिकतम 21 रुपये का शुल्क लगाया जाता है.

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